कछवां। देहात कोतवाली क्षेत्र के भटौली घाट पर शुक्रवार की सुबह नौ बजे गंगा में नहाते समय डूबने से शुभम पांडेय (22) की मौत हो गई जबकि उसे बचाने का प्रयास कर रहे उसके भाई और बुआ के पुत्र को नाविकों ने बचा लिया।
वाराणसी के बड़ागांव क्षेत्र के सिसवा गांव निवासी शुभम पांडेय (22) पुत्र अरुण पांडेय बचपन से ही कछवां क्षेत्र के जमुआरी गांव निवासी अपने नाना माता प्रसाद उपाध्याय के घर रहता था। यहीं रहकर रहकर वह कछवां स्थित क्रिश्चियन स्कूल में इंटर में पढ़ता था। शुभम का छोटा भाई हर्ष (19) मुंबई में रहता है। हर्ष गुरुवार को नाना के यहां आया था। शुभम अपने छोटे भाई हर्ष और बुआ के लड़के को लेकर शुक्रवार की सुबह आठ बजे बरैनी घाट पर गंगा स्नान करने पहुंचा था। तीनों बरैनी पक्का पुल के पास स्नान कर रहे था। वहां पानी कम होने के कारण शुभम अपने छोटे भाई हर्ष और बुआ के लड़के के साथ भटौली घाट पर नहाने चला गया। यहां हर्ष अपने बुआ के लड़के के साथ घाट पर नहाने लगा जबकि शुभम नाव पर सवार होकर कुछ दूरी पर पहुंचा और नाव से गंगा में कूद कर नहाने लगा। ठीक से तैरना नहीं जानने के कारण शुभम गहरे पानी में चला गया। उसे डूबता देख हर्ष और बुआ के लड़के ने उसे बचाने का प्रयास करते समय खुद डूबने लगे। यह देख आसपास के लोग शोर मचाने लगे। तीनों को डूबते देख नाविकों ने उन्हें बचाने का प्रयास किया। नाविकों ने हर्ष और उसके बुआ के लड़के को बचा लिया लेकिन शुभम को नहीं बचाया जा सका। घटना की सूचना तत्काल गुरसंडी पुलिस चौकी को दी गई। मौके पर पहुंची पुलिस ने शुभम के शव को निकलवाया और उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। शुभम दो भाइयों में बड़ा था। इसके पिता अरुण पांडे एक प्राइवेट कंपनी में काम करते हैं।
शुभम को मौत खींचकर भटौली घाट ले गई थी। इससे पहले वह बरैनी घाट पर ही स्नान कर रहा था लेकिन वहां पानी कम होने के चलते अपने भाई को लेकर भटौली घाट पहुंचा और नाव पर बैठकर छलांग लगा दी थी। शुभम के नाना माता प्रसाद उपाध्याय को पांच लड़कियां और एक पुत्र था। बीमारी की वजह से पुत्र की मौत हो गई। इसकी वजह से माता प्रसाद पौत्र शुभम को अपने घर पर रखकर पढ़ाते थे। शुभम यहीं पर रहकर खेती का कार्य देखता था। परिवार के लोगों ने बताया कि छोटा भाई हर्ष मुंबई से बृहस्पतिवार को आया था। दोनों भाइयों ने वाराणसी वाटर पार्क में जाने की योजना बनाई थी। शुभम ने कहा कि आज बरैनी घाट पर गंगा स्नान करेंगे और वाराणसी किसी और दिन जाएंगे। दोनों भाई बुआ के लड़के साथ सुबह आठ बजे बिना किसी को बताए बरैनी घाट पहुंचे थे जहां पानी होने पर भटौली घाट नहाने चले गए।