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भदोही के सिंहासन पर बाहुबली बृजेश सिंह की नजर

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एमएलसी बृजेश सिंह के पुत्र सिद्धार्थ सिंह ने भाजपा कार्यालय में किया आवेदन

वार्ड नंबर तीन से चुनाव लड़ने के आसार से बढ़ी चुनावी सरगर्मी

भदोही। मार्च के महीने में भले ही अभी मौसम नरम रूख अख्तियार किये हो किन्तु बाहुबली बृजेश सिंह की पंचायत चुनाव में हुई दस्तक से चुनावी मौसम पूरी तरह गर्म दिखायी दे रहा है। पूर्वांचल में माफिया डॉन के नाम से मशहूर व वर्तमान एमएलसी बृजेश सिंह की नजर अब भदोही के सिंहासन पर गड़ चुकी है। उनके पुत्र सिद्धार्थ सिंह ने भाजपा कार्यालय में आवेदन किया है जिसकी पुष्टि खुद जिलाध्यक्ष विनय कुमार श्रीवास्तव ने की है। वार्ड नंबर तीन से सिद्धार्थ सिंह के चुनाव लड़ने की खबर से राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गयी है। भदोही में फैले उनके समर्थक जहां कपसेठी हाउस में हाजिरी लगानी शुरू कर दिये हैं, वहीं उक्त वार्ड से जिला पंचायत सदस्य बनने का सपना देखने वालों के दिलों की धड़कन भी बढ़ चुकी है।

गौरतलब है कि जिले की सबसे बड़ी कुर्सी पर अभी तक बाहुबली विजय मिश्रा का सबसे अधिक कब्जा रहा है। इस कुर्सी पर अधिकतर समय उनके परिवार का ही कोई सदस्य विराजमान रहा है या फिर उन्हीं के खेमे का कोई व्यक्ति काबिज रहा है किन्तु इस बार के चुनाव में ज्ञानपुर विधायक विजय मिश्रा हासिये पर चले गये हैं। योगी सरकार का कहर जिस तरह प्रदेश के अधिकतर माफियाओं पर टूट रहा है। उसी कहर के शिकार विजय मिश्रा भी बन चुके हैं। एक रिश्तेदार की सम्पत्ति पर कब्जा करने के मामले में विधायक जेल में बंद हैं।
पंचायत चुनाव आने के साथ ही कयास लगाये जा रहे थे कि जिला पंचायत की कुर्सी पर इस बार कपसेठी हाउस की नजर है। हालाकि इस कुर्सी पर भदोही विधायक रवीन्द्रनाथ त्रिपाठी की भी नजर है। उनके ब्लाक प्रमुख भाई शचीन्द्रनाथ त्रिपाठी इस बार अध्यक्ष पद की मजबूत दावेदारी करने वाले हैं। इसके लिये दो वार्डों से उनके भाई व बहू भी चुनाव मैदान में हैं। किन्तु बाहुबली बृजेश सिंह की दस्तक से अब राजनीतिक चर्चायें दूसरा मोड़ ले चुकी हैं। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि पंचायत चुनाव में भाजपा किसे टिकट देकर खुश करती है। लेकिन जिस तरीके से बृजेश सिंह ने भदोही के पंचायत चुनाव में दस्तक देने की कोशिश शुरू कर दी है। इससे माना जा रहा है कि यह पंचायत चुनाव काफी रोचक होगा।

बताते चलें कि बृजेश सिंह की पत्नी अन्नपूर्णा सिंह भदोही से एमएलसी रही हैं और मौजूदा समय में खुद बृजेश सिंह एमएलसी हैं। अभी तक यह कयास लगाये जा रहे थे कि सिद्धार्थ सिंह वार्ड नंबर 4 से चुनाव लड़ सकते हैं। लेकिन जातिगत आधार पर वार्ड नंबर 4 उनके लिये शायद सही साबित नहीं हो पाता इसलिये उन्होंने वार्ड 3 को प्राथमिकता दी है। दूसरी तरफ वार्ड तीन जातिगत समीकरण के हिसाब से भी उनके लिये फिट बैठ रहा था। इस वार्ड के कई ऐसे गांव हैं जो कपसेठी हाउस के समर्थक माने जाते हैं।

निर्विरोध चुने जाने के लिये बैठकों का दौर जारी

जिला पंचायत चुनाव की घोषणा होने के साथ ही जिला पंचायत सदस्य बनने का सपना देखने वालों ने वार्ड के गावों दीवारों को पोस्टर बैनर से पाटना शुरू कर दिया था, लेकिन सिद्धार्थ सिंह का नाम सामने आते ही कई चेहरों पर मायूसी भी दिखने लगी है। सूत्रों की मानें तो सिद्धार्थ सिंह को निर्विरोध विजयश्री दिलाने के लिये उनके समर्थकों ने अभी से जी—तोड़ मेहनत भी शुरू कर दी है। वार्ड 3 से जो भी संभावित प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं उनका बुलावा भी कपसेठी हाउस से आने लगा है। यह बात इससे भी साबित हो रही है कि संभावित प्रत्याशियों में कुछ ऐसे चेहरे जो रातदिन जनसंपर्क में जुटे हुये थे वे आजकल आराम फरमा रहे हैं। हालांकि कपसेठी हाउस का बुलावा सच है या अफवाह लेकिन संभावित प्रत्याशियों के चेहरे पर छायी मायूसी को देखकर यही लगता है कि अंदरखाने में कुछ ना कुछ तो अवश्य पकना शुरू हो गया है जिसकी गंध अभी बाहर आनी बाकी है।

भदोही की जनता ना डरेगी ना बिकेगी
पैराशूट प्रत्याशी को लाना भदोही का दुर्भाग्य

अखिलेश पाल

छात्र राजनीति से अपनी राजनीति शुरू करने वाले पिरीस दून का पुरा निवासी अखिलेश प्रकाश पाल भी जिला पंचायत चुनाव में वार्ड नंबर तीन से ताल ठोंक चुके हैं। कोरोना काल में कुष्ठ बस्ती के सभी परिवारों को गोद लेकर भरण पोषण करने से लेकर कई सामाजिक कार्यों में अपनी सहभागिता निभाने से क्षेत्र में काफी लोकप्रिय भी हैं। श्री पाल ने बातचीत में कहा कि भदोही का दुर्भाग्य है कि यहां पर पैराशूट से प्रत्याशी लाये जाते हैं जिसके कारण जिले का विकास ठहर गया है। माफिया प्रवृत्ति का कोई भी बाहरी प्रत्याशी क्षेत्र का विकास नहीं करेगा, बल्कि खुद की जेब भरने का काम करेगा। कहा कि भाजपा या कोई भी दल यदि बाहरी और अपराधी प्रवृत्ति के लोगों को टिकट देती है तो यह उस पार्टी के चाल चरित्र को प्रदर्शित करेगा।
कहा कि भदोही की जनता अब जागरूक हो चुकी है। पैराशूट से लाये गये किसी भी व्यक्ति को वह स्वीकार नहीं करेगी। भदोही की जनता अब ना तो बिकने वाली है और ना ही डरने वाली है। श्री पाल ने कहा कि वे काफी दिनों से क्षेत्र की जनता की सेवा करते आ रहे हैं। राजनीति में आना उनके लिये किसी लाभ का साधन नहीं बल्कि जनता की सेवा करना है और जनता की सेवा वहीं कर सकता है जो जनता के दुख सुख में खड़ा रहता हो। जो भी प्रत्याशी पैराशूट से आयेगा वह चुनाव जीतने के बाद उसी तरह उड़ भी जायेगा। कहा वे जनता के सेवक है। उन्हें ना कोई खरीद सकता है और ना ही डरा सकता है। वे चुनाव भी लड़ेगें और जनता के आशीर्वाद से डंके की चोट पर जीतकर भी दिखायेंगे।

जनता का सेवक हूं बिना खौफ के लड़ूंगा चुनाव

सुभाष सिंह

जिला पंचायत भदोही वार्ड नं 3 से चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे सुभाष सिंह ने कहा कि मुकाबले में कोई भी आये बिना डर व भय के चुनाव लड़ूूूंगा। श्री सिंह ने कहा कि लोकतंत्र में सभी को चुनाव लड़ने और अपने मताधिकार का प्रयोग करने की स्वतंत्रता है। किसी भी नागरिक के अधिकार का हनन नहीं किया जाना चाहिये। कहा मैदान में कोई भी प्रतिद्वंदी आये लेकिन जब पांव आगे बढ़ा दिया हूं तो उसे पीछे नहीं खीचूंगा।
बता दें कि सुभाष सिंह पिपरीस गांव के डीह मोहल्ले के निवासी हैं। पंचायत चुनाव में पिछली बार ग्राम प्रधानी का चुनाव लड़े थे और कड़ी टक्कर देने के बाद भी चुनाव हार गये थे। इस बार भी ग्राम प्रधान चुनाव की तैयारी में थे लेकिन आरक्षण के कारण जिला पंचायत का चुनाव वार्ड 3 से लड़ रहे हैं।

 

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