भदोही। गोपीगंज थाना के बेरासपुर गांव में हरिद्वार से मिला बच्चा इस समय चर्चा का विषय बना हुआ है। बच्चे को लेकर लोग तरह-तरह की चर्चा कर रहे है। कुछ लोग तो बच्चे को अपनाने की भी बात कर रहे है, लेकिन अब मामला पुलिस के संज्ञान में है। और पुलिस बच्चे के माता-पिता के तलाश में जुट गई है।
जानकारी के मुताबिक बेरासपुर निवासी गुलाब निषाद की पत्नी मंजू देवी हरिद्वार के स्वामी नारायण आश्रम की कमलदास कुटिया में कार्य करती है। और जुलाई में हरिद्वार में साहिल नामक तीन वर्षीय बच्चे को पाई थी। उसके बाद मंजू उस बच्चे को लेकर रक्षाबंधन के आसपास बेरासपुर आ गई और वह फिर हरिद्वार चली गई। लेकिन बच्चे को नही ले गई।
मंजू ने बच्चे को न ले जाने का कारण बताया कि वह काम करेगी कि बच्चे की देखभाल करेगी। मंजू के जाने के बाद बेरासपुर के उसके परिजनों ने बच्चे की सूचना शनिवार को गोपीगंज थाने मे दी। उसके बाद पुलिस ने बच्चे से जुडी जानकारी ली और उसके परिजनों की खोज में जुट गई है।
बच्चा इस समय दयाशंकर निषाद के यहां पर है। और उन लोगों का भी कहना है कि साहिल के माता-पिता आकर साहिल को ले जाए तो अच्छा होगा। कुछ ऐसे भी लोग है जो सोचते है कि यदि बच्चा न जाए तो मुझे दे दे पालन पोषण करूं लेकिन दयाशंकर किसी को देने को तैयार नही है।
हालांकि मामला पुलिस के संज्ञान में है। यहां एक बात बहुत ही चर्चा में है कि इतना छोटा बच्चा बिना अपने माता-पिता के कैसे रह पा रहा है? दयाशंकर के परिजन उस बच्चे को काफी देखभाल कर रहे है। वह हमेशा खेलता रहता है। मानो ऐसा लगता है कि उस बच्चे का घर बेरासपुर ही हो। लेकिन सबकी इच्छा है कि बच्चे के असली माता-पिता बच्चे को आकर ले जाएं।