मुंबई :देश की आर्थिक राजनाधी के इस महानगर में पङ रही प्रचंड गर्मी एवं उष्णता भरी चिपचिपाहटो से सभी आमजन परेशान है। बता दें कि दुर्गापूजा के त्योहार के दस पंन्द्रह दिनो पहले से ही झेल रहे गर्मी से तमाम नागरिक सूरज देव को कोस रहे है जबकि वास्तव में ऐसे समय में इतनी गर्मी नही पङनी चाहिए। बतातें चलें कि पर्यावरणविद एवं चिकित्सक ऐसे समय में सावधान रहने की सलाह दे रहे है। एक तरफ पर्यावरणविद का कहना है कि इस उष्णभरी गर्मी में उङ रहे धूल आमजनो के सेहत पर बुरा प्रभाव डालते है।
वही दूसरी तरफ चिकित्सकगणो का कहना है कि ऐसी परिस्थिती में हरी सब्जियो का सेवन तथा तरल पदार्थ जैसे जूस, भरपूर जल ,नारियल का पानी आदि का सेवन करना लाभकारी रहता है। गौरतलब हो कि मौसम के बदलते समय ऐसी उलटफेर होती ही है परंतु इस साल इतनी जल्दी मानसून के चले जाने से मुंबई के विभिन्न क्षेत्रो में पानी की आपूर्ति भी सही ढंग से नही हो पाती है जिससे कि आमजनो के घर मे पानी की भी समस्या उत्पन्न हो रही है।
मौसम विभाग के अनुसार मानसून के शुरूवाती दौर मे बरसात अच्छी हुई थी सभी जल संचय निकाय लबालब भरे पङे थे परंतु मानसून के जल्दी वापस चले जाने के कारण अभी से ही थोङी थोङी कटौती करना जरूरी है अन्यथा आनेवाले दिनो में पानी की और किल्लत हो जाने से नकारा नही जा सकता। वही 20 अक्टूबर के बाद से सूर्य के उत्तरी गोलार्ध में प्रवेश करते ही बढे हुए तापमान में गिरावट हो सकती है।