Home मुंबई उत्तर भारतीयों की क्यों लगी चौपाल ?

उत्तर भारतीयों की क्यों लगी चौपाल ?

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हमार पूर्वांचल
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ठाणे : हिन्दी भाषी प्रदेशों में उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्य प्रदेश आदि राज्यों के गाँवों में पहले बड़े-बुजुर्गों के तत्वावधान में एक संगोष्ठी, आपसी समस्याओं को लेकर परिचर्चा हुआ करती थी, जिसे चौपाल कहते हैं। इस चौपाल में जिस भी व्यक्ति की जैसी भी समस्या हुआ करती थी उसमें उस समस्या के निवारण हेतु आपसी बहस होती थी और समस्या का निवारण संगठित होकर करते थे, ठीक उसी प्रकार की समस्याओं को लेकर वरदान लोक आश्रम घोडबंदर रोड ठाणे (पश्चिम) के प्रांगण में दिनांक 28 अक्तूबर की शाम एक बट्टी-चोखा चौपाल का आयोजन हिन्दी अखबार “इंडिया अनबाउंड ” परिवार के तत्वावधान में रखा गया।

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जिसका श्रेय सबके हितैषी श्री धर्मेन्द्र तिवारी एवं नित्यानंद पांडे के संरक्षण में रखा गया। जिसमें परिचर्चा का विषय हिन्दी भाषी प्रदेशों से गुजरात, महाराष्ट्र राज्यों में आये हुए बेरोजगार युवकों पर आये दिन अत्याचार क्यों किया जा रहा है। अभी गुजरात से परप्रांतिय भगाये गये, उन्हें प्रताड़ित किया जा रहा है, मुंबई के प्रभादेवी में एक उत्तर भारतीय को बेरहमी से पीटा गया जो के•इ•एम•हास्पीटल में भर्ती है उसका ईलाज चल रहा है आखिर क्यों? इसका आशय सिर्फ एक ही है कि हम हिन्दी भाषी यहाँ के मूल निवासियों, राजनेताओं से डरे, सहमें रहते हैं और संगठित नहीं हैं। जबकि हम सभी ईमानदारी, वफादारी से खून-पसीना एक करके परिश्रम कर कमाते हैं और अपना घर चलाते हैं, बदले में शहर में बसने वालों की समस्याओं को लेकर अपना अमूल्य समय निछावर करके लोगों के साथ हांथ भी बटाते हैं, फिर भी यहाँ के मूल निवासियों, राजनेताओं के राजनैतिक षडयंत्र उनके चक्रव्यूह के शिकार हमारे लोग हो रहें हैं, कहीं न कहीं प्रताड़ित किए जा रहें और सताये जा रहें हैं।आखिर दूधवाला, भाजिवाला, पेपरवाला, चायवाला, फेरीवाला, पानवाला सभी अपने भाई हैं, सभी अपनी ईमानदारी, वफादारी का परिचय देते हुए लोगों की आवश्यकताओं की पूर्ति करते हैं और उस परिश्रम के द्वारा अर्जित धन से अपना घर-परिवार चलाते हैं, तो फिर क्यों उन पर अत्याचार हो रहा है ? चौपाल में शपथ लेते हुए निर्णय लिया गया कि हम सभी को संगठित होकर रहना है और महाराष्ट्र, गुजरात के महानगरों के चारो तरफ परप्रांतिय सहायता केन्द्र बनाया जाय, जहाँ से उन्हें प्रत्येक समस्याओं से निजात दिलाया जाये। ऐसे शहरों में सुख-सुविधाओं से वंचित रहने वालों को राशन कार्ड, पेन कार्ड, आधार कार्ड, लेक्शन कार्ड आदि बिना शुल्क मुहैया कराया जाय जिससे उन्हें प्रशासकीय लाभ से वंचित रहना न पड़े।
उक्त चौपाल में मुंबई,ठाणे से श्री पंकज मिश्रा (उद्योगपति), श्री के•पी•मिश्रा (समाजसेवक), श्री अनिरुद्ध तिवारी (समाजसेवक), श्री शैलेन्द्र मिश्रा (आय•पी•एस•अधिकारी), श्री एस•के•मिश्रा (कस्टम कमिश्नर) आदि के साथ-साथ उत्तर भारतीय एकता मंच के पदाधिकारी एवं सम्मानित सुधिजन उपस्थित थे।

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